रायपुर(Raipur) लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के हीरा लाल ध्रुव और जल संसाधन विभाग के कुलदीप नामदेव की शिकायत पर कार्रवाई करते हुए ईपीएफ कार्यालय ने दोनों विभागों को 7A का नोटिस जारी किया है। नोटिस में विभागों को निर्देश दिया गया है कि 15 दिनों के भीतर कर्मचारियों की ईपीएफ कटौती शुरू करें।
2016 में जारी हुआ था ईपीएफ कटौती का आदेश
2016 में छत्तीसगढ़ शासन के तत्कालीन मुख्य सचिव विवेक ढाँढ ने सभी निगम, मंडल, आयोग, बोर्ड, सोसायटी और 57 विभागों में श्रम दर आकस्मिक श्रमिकों के लिए ईपीएफ कटौती का निर्देश दिया था। आदेश के अनुसार, यह कटौती बिचौलियों के बिना की जानी थी। हालांकि, अधिकांश विभागों ने इस आदेश का पालन नहीं किया।
दैनिक श्रमिक मोर्चा संगठन के प्रयास से मिली सफलता
दैनिक श्रमिक मोर्चा संगठन ने इस दिशा में विशेष प्रयास किए, जिसके परिणामस्वरूप लोक निर्माण विभाग ने श्रमिकों का ईपीएफ कटौती कर इसे ईपीएफ कार्यालय में जमा करना शुरू कर दिया है। इससे श्रम दर श्रमिकों को सीधे लाभ मिल रहा है।
ईपीएफ कटौती का विस्तार और भविष्य की उम्मीदें
पहले यह सुविधा केवल निजी क्षेत्र, आउटसोर्सिंग, ठेका, और प्लेसमेंट श्रमिकों तक सीमित थी। विवेक ढाँढ के निर्देशों के तहत इसे आकस्मिक श्रम दर श्रमिकों तक भी विस्तार दिया गया। अब लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी और जल संसाधन विभागों में भी ईपीएफ लागू होने से श्रमिकों को उनका हक मिलेगा।
यह कदम श्रमिक अधिकारों और सामाजिक सुरक्षा के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण पहल मानी जा रही है।
संवाददाता – बीना बाघ